Detailed Notes on Shiv Chalisa lyrics
सहस कमल में हो रहे धारी। कीन्ह परीक्षा तबहिं पुरारी॥जन्म जन्म के पाप नसावे । अन्तवास शिवपुर में पावे ॥त्रिगुण रूपनिरखता त्रिभुवन जन
सहस कमल में हो रहे धारी। कीन्ह परीक्षा तबहिं पुरारी॥जन्म जन्म के पाप नसावे । अन्तवास शिवपुर में पावे ॥त्रिगुण रूपनिरखता त्रिभुवन जन